अंकिता के घर पहुंचे पूर्व मंत्री डॉक्टर हरक सिंह रावत व अनुकृति गुसाईं रावत, कानूनी लड़ाई के लिए दी एक लाख की सहायता राशि

श्रीनगर । अपराधियों को कितना भी राजनैतिक संरक्षण प्राप्त हो वो बचना नहीं चाहिए। जिन भी अपराधियों ने यह घिनौना जघन्य अपराध उत्तराखंड की बेटी अंकिता भंडारी के साथ किया है और जिस भी बड़े से बड़े वीआईपी का नाम इस घटना में आ रहा है उसका खुलासा होना चाहिए। यह बात गुरुवार को उत्तराखंड के पूर्व मंत्री डॉ. हरक सिंह रावत ने अंकिता के परिजनों से मुलाकात करके कहीं। उन्होंने कहा कि इस घटना को सिर्फ सीबीआई खोल सकती है बाकी स्थानीय जांच पर भरोसा नहीं रह गया है। क्योंकि उन्होंने साक्ष्य मिटाने  में कोई कमी नहीं छोड़ी हैं। इस मौके पर महिला एवं बाल कल्याण संस्था की अध्यक्षा अनुकृति गुसाईं रावत ने कहा कि प्रदेश में महिलाएं सुरक्षित नहीं रह गई हैं । सरकार को कड़ा से कड़ा कानून बनाना चाहिए । इस मौके पर अनुकृति गुसाई ने न्यायिक लड़ाई लेने के लिए 1 लाख रुपए की अपनी तरफ से आर्थिक मदद भी करी ।
उन्होने कहा अंकिता हत्याकांड में पूरे उत्तराखंड को यह सोचने पर मजबूर कर दिया है कि क्या अब पहाड़ की बेटियां पहाड़ में भी सुरक्षित नहीं है। क्या उनको आत्मनिर्भर होने के सपने को साकार करना इतना भारी पड़ सकता है। ऐसा ही कुछ हुआ अंकिता के साथ और आज अंकिता हमारे बीच में नहीं है उसकी पीड़ा असहनीय थी। इस दुख की घड़ी में डॉ हरक सिंह रावत व अनुकृति गुसाईं रावत द्वारा भरोसा दिया गया कि अंकिता को न्याय जरूर मिलेगा और अंकिता को न्याय दिलाने की लड़ाई में आखरी दम तक परिवार वालों के साथ वह खड़े रहेंगे। अंकिता को न्याय  दिलाने की लड़ाई अब अंकिता के परिवार की लड़ाई नहीं पूरे उत्तराखंड की नारी शक्ति के सम्मान की लड़ाई बन चुकी है।

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